बेंगलुरु। कर्नाटक के उपमुख्यमंत्री और प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष डी.के. शिवकुमार ने शुक्रवार को एक अहम राजनीतिक बयान देते हुए कहा कि कांग्रेस ने अपने नेताओं और कार्यकर्ताओं को जो सबसे बड़ी चीज दी है, वह है — अभिव्यक्ति की ताकत। उन्होंने कहा कि पार्टी ने उन्हें कौन सा पद दिया या नहीं दिया, यह मायने नहीं रखता। उन्होंने जोर देकर कहा कि किसी अन्य पार्टी में अपने विचारों को खुलकर रखने और मानवता को प्राथमिकता देने की यह स्वतंत्रता नहीं मिल सकती है।
बता दें कि, शिवकुमार का यह बयान ऐसे समय में आया है जब कर्नाटक के मुख्यमंत्री सिद्धारमैया ने राज्य सरकार में नेतृत्व परिवर्तन से जुड़ी अटकलों को खारिज करते हुए गुरुवार को कहा कि मुख्यमंत्री पद के लिए ‘‘कोई रिक्ति नहीं’’ है और वह पद पर बने हुए हैं। सिद्धारमैया ने दावा किया कि वह मुख्यमंत्री के रूप में अपना पांच साल का कार्यकाल पूरा करेंगे और उन्होंने इस साल के आखिर में उप मुख्यमंत्री डी. के. शिवकुमार के मुख्यमंत्री के रूप में कार्यभार संभालने का मार्ग प्रशस्त होने से संबंधित अटकलों को खारिज कर दिया।
कांग्रेस की विचारधारा पर जोर
अपने संबोधन में शिवकुमार ने कांग्रेस की विचारधारा पर जोर देते हुए कहा कि पार्टी ने हमेशा मानवता को सर्वोपरि रखा है। उन्होंने कहा कि धर्म के नाम पर राजनीति करना कांग्रेस की संस्कृति नहीं है।
“हम सब एक हैं। हमारी पूजा अलग हो सकती है, लेकिन हमारी आत्मा और संविधान एक है। यही कांग्रेस की ताकत है। यही भारतीय लोकतंत्र की ताकत है।”