ईरान-इजरायल युद्ध थमने का नाम ही नहीं ले रहा हैं। दिन व दिन युद्ध बढ़ता ही जा रहा है लोगों की परेशानियां बढ़ रही है दिन रात लोग डर में जी रहै हैं कि आने वाला वक्त कैसा होगा। बता दें कि UNSC की फिर बैठक हुई है। जिसमें इस बात को लेकर पूरी गंभीरता के साथ चर्चा हुई। हिजबुल्लाह के उप नेता शेख नईम कासिम ने इजरायल और अमेरिका को ललकारते हुए कहा कि ईरान का परमाणु कार्यक्रम शांतिपूर्ण है और इसका मकसद राष्ट्रीय विकास है।
नई दिल्ली। इजरायल और ईरान के बीच छिड़ी जंग ने अब और खतरनाक मोड़ ले लिया है। आठ दिन पहले शुरू हुए इस संघर्ष में दोनों मुल्क एक-दूसरे पर भारी हमले कर रहे हैं। गुरुवार की रात इजरायल ने ईरान के परमाणु ठिकानों पर बमबारी की, जिसमें अराक, नतांज और खोंडब हेवी-वाटर रिसर्च साइट के आसपास के इलाके निशाना बने। इसके बाद ईरान ने भी जवाबी हमला किया।
इजरायली सेना के अधिकारियों ने इस बारे में और कोई जानकारी नहीं दी। हालांकि, इजरायली न्यूज चैनलों के हवाले से बताया गया कि यह मिसाइल मध्य इजरायल के ऊपर करीब 4 मील (7 किलोमीटर) की ऊंचाई पर फटी, जिससे इसके अंदर मौजूद करीब 20 छोटे बम 5 मील (8 किलोमीटर) के दायरे में बिखर गए।यह हमला दोनों मुल्कों के बीच बढ़ते तनाव को और गंभीर बनाता है, क्योंकि क्लस्टर मुनिशन का इस्तेमाल अंतरराष्ट्रीय स्तर पर विवादास्पद माना जाता है।
“ईरान के खिलाफ वैश्विक विरोध उसकी परमाणु महत्वाकांक्षाओं की वजह से नहीं, बल्कि उसके विश्वास, ज्ञान और आजादी के रुख की वजह से है, जो मजलूमों को ताकत देता है।”
संयुक्त राष्ट्र में आपात बैठक
पिछले शुक्रवार को इजरायल के हमले के बाद संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद (UNSC) की आपात बैठक हुई थी। अब ईरान ने रूस, चीन और पाकिस्तान के समर्थन से एक और बैठक की मांग की है। UNSC आज फिर इस तनाव पर चर्चा के लिए इकट्ठा होगा।
ईरान के IRGC कमांडर मोहसिन रजेई ने कहा कि नतांज, इस्फहान, खंदाब और अराक जैसे परमाणु ठिकानों की सामग्री को हमलों से पहले सुरक्षित जगहों पर पहुंचा दिया गया था। उन्होंने चेतावनी दी, “युद्धविराम दुश्मन को ताकत जुटाने का मौका देगा, जो कबूल नहीं।”
आने वाले समय में ईरान-इजरायल युद्ध क्या मोड़ लेता हैं ये तो आने वाला वक्त ही बतायेगा फिल्हाल हम शांति की कामना करते है। वहां का जनजिवन पूरी तरह बिगड़ चूंका हैं।