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रायबरेली में ड्रैगन फ्रूट बना किसानों की आय का नया जरिया, बढ़ती मांग से खेती को मिला बढ़ावा, बढ़ती मांग से खेती को मिला बढ़ावाइसकी खेती के लिएकिसानों को जानकारी भी दी जा रही हैं

ड्रैगन फ्रूट बना किसानों की आय का नया जरिया रायबरेली मे ड्रैगन फ्रूट खेती को बढ़ावा दिया जा रहा हैंकिसानों की आय इसकी खेती से बढ़ती जा रही है सरकार भी किसानों को बढवा देने में लगी है जिससे किसानों को लाभ भी हो रहा हैं ।

रायबरेली: पारंपरिक गेहूं और धान की खेती से आगे बढ़ते हुए उत्तर प्रदेश के किसान अब उन्नत और लाभकारी फसलों की ओर तेजी से रुख कर रहे हैं। रायबरेली जिले के बरसवां गांव के प्रगतिशील किसान रामगोपाल सिंह ने एक मिसाल कायम की है। उन्होंने ड्रैगन फ्रूट की खेती शुरू कर न सिर्फ खुद की आय में वृद्धि की, बल्कि अन्य किसानों के लिए भी प्रेरणा का स्रोत बन गए हैं।

रामगोपाल सिंह ने लगभग दो वर्ष पहले मिर्जापुर से ड्रैगन फ्रूट के पौधे और खेती के लिए जरूरी स्ट्रक्चर मंगवाए। उन्होंने अपने खेत में 250 स्ट्रक्चर तैयार कर लगभग एक हजार पौधे लगाए। हर स्ट्रक्चर में चार-चार पौधे लगाए गए, जिन्हें विशेष तकनीक से तैयार किया गया है। यह न केवल स्थानीय जलवायु के अनुकूल है, बल्कि इसमें पानी की खपत भी अन्य फसलों की तुलना में कम होती है।

आकर्षण का केंद्र बनी खेती, अन्य किसान भी प्रेरित

रामगोपाल सिंह की ड्रैगन फ्रूट की लहलहाती बेलों को देखने के लिए स्थानीय गांवों और फतेहपुर जिले के कई किसान उनके खेत पर पहुंचे। इनमें अनुज मौर्य, राजकुमार, डॉ. मनोज पटेल और सतांव गांव के वीरेंद्र वर्मा जैसे नाम प्रमुख हैं। ये सभी या तो ड्रैगन फ्रूट की खेती शुरू कर चुके हैं या इसकी तैयारियों में जुटे हैं।

ड्रैगन फ्रूट के प्रति किसानों की यह बढ़ती दिलचस्पी दिखाती है कि अब वे पारंपरिक खेती की सीमाओं से बाहर निकलकर नई संभावनाओं को तलाशने लगे हैं।

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