भोपाल से देशभर के लिए एक गौरवपूर्ण समाचार आया है। माखनलाल चतुर्वेदी राष्ट्रीय पत्रकारिता एवं संचार विश्वविद्यालय, भोपाल के पूर्व कुलपति प्रो. (डॉ.) के.जी. सुरेश को प्रतिष्ठित इंडिया हैबिटेट सेंटर (IHC), नई दिल्ली का नया निदेशक नियुक्त किया गया है। यह नियुक्ति न केवल उनकी असाधारण योग्यता का सम्मान है, बल्कि मध्यप्रदेश की शिक्षा एवं पत्रकारिता क्षेत्र की उपलब्धियों का भी राष्ट्रीय स्तर पर मूल्यांकन है।
तीन दशकों से अधिक के अपने शानदार करियर में प्रो. सुरेश ने शिक्षा, मीडिया और संस्थागत विकास के क्षेत्र में कई अहम मुकाम हासिल किए हैं। माखनलाल चतुर्वेदी विश्वविद्यालय में अपने कार्यकाल के दौरान उन्होंने न केवल पाठ्यक्रम नवाचार और उद्योग-शैक्षणिक साझेदारी को बढ़ावा दिया, बल्कि विश्वविद्यालय को भोपाल के नवीन बिशन खेड़ी परिसर में स्थानांतरित कराने और रीवा में नए परिसर के शुभारंभ जैसे ऐतिहासिक कार्यों का नेतृत्व किया। उनके कार्यकाल में विश्वविद्यालय में भारतीय भाषा विभाग और सिनेमा अध्ययन विभाग की स्थापना की गई, जो नई पीढ़ी को विविध क्षेत्रों में उच्च गुणवत्ता की शिक्षा प्रदान करने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम रहा। इसके साथ ही सामुदायिक रेडियो स्टेशन ‘रेडियो कर्मवीर’ की शुरुआत और राष्ट्रीय शिक्षा नीति 2020 के सफल क्रियान्वयन का श्रेय भी उनके गतिशील नेतृत्व को जाता है।
इससे पहले भारतीय जनसंचार संस्थान (IIMC), नई दिल्ली के महानिदेशक के रूप में उन्होंने भारतीय भाषाओं में पत्रकारिता शिक्षा को मजबूती प्रदान की। यूपीईएस देहरादून में स्कूल ऑफ मॉडर्न मीडिया के संस्थापक डीन और वैश्विक मीडिया शिक्षा परिषद (GMEC) के स्थापक अध्यक्ष के रूप में भी उन्होंने शिक्षा और अनुसंधान के क्षेत्र में उल्लेखनीय योगदान दिया। साथ ही, दूरदर्शन न्यूज़, प्रेस ट्रस्ट ऑफ इंडिया (PTI) और एशियानेट न्यूज़ नेटवर्क जैसी प्रमुख मीडिया संस्थाओं में वरिष्ठ संपादकीय भूमिकाएँ निभाकर उन्होंने मीडिया के विविध पक्षों को सशक्त बनाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है।
प्रो. सुरेश को गणेश शंकर विद्यार्थी पुरस्कार, पीआरएसआई लीडरशिप अवॉर्ड सहित कई राष्ट्रीय सम्मानों से भी सम्मानित किया गया है, जो उनकी निरंतर उत्कृष्टता और सेवा भाव का प्रमाण है।
“इंडिया हैबिटेट सेंटर जैसे विशिष्ट संस्थान का नेतृत्व करना मेरे लिए एक बड़ा सम्मान और नई जिम्मेदारी का अवसर है। मैं इस मंच को संवाद, नवाचार और सामुदायिक विकास के लिए एक प्रेरक शक्ति बनाने के लिए टीम के साथ मिलकर काम करूंगा। हमारा प्रयास रहेगा कि IHC को सामाजिक, सांस्कृतिक और आर्थिक विमर्श का एक अग्रणी केंद्र बनाया जाए,” प्रो. सुरेश ने इंडिया हैबिटैट सेंटर के निदेशक की जिम्मेदारी लेते हुए बताया।
भोपाल और माखनलाल चतुर्वेदी पत्रकारिता विश्वविद्यालय के लिए यह गर्व का क्षण है कि उनके पूर्व कुलपति को राष्ट्रीय स्तर पर इतनी महत्वपूर्ण जिम्मेदारी मिली है। प्रो. सुरेश की यह उपलब्धि इस बात का प्रतीक है कि दूरदर्शिता, नवाचार और सेवा भाव से काम करने वाला नेतृत्व किस प्रकार शिक्षा और संवाद की दुनिया में नई ऊँचाइयाँ छू सकता है। उनके नेतृत्व में इंडिया हैबिटेट सेंटर के भविष्य को लेकर नई ऊर्जा और नई उम्मीदें जगाई जा रही हैं।