सोमवार को नाम वापस लेने की अंतिम तिथि थी। जिला निर्वाचन पदाधिकारी सह जिला पदाधिकारी कौशल कुमार और वरीय पुलिस अधीक्षक जगुनाथ रेड्डी जला रेड्डी ने संयुक्त रूप से प्रेस कॉन्फ्रेंस कर जिले की चुनावी स्थिति की जानकारी दी। उन्होंने बताया कि जिले में कुल 145 उम्मीदवारों ने नामांकन दाखिल किया था, जिनमें से 9 उम्मीदवारों ने अपना नाम वापस ले लिया। अब कुल 123 उम्मीदवार मैदान में रह गए हैं, जो 10 विधानसभा क्षेत्रों से चुनाव लड़ेंगे।
28 लाख से अधिक मतदाता करेंगे अपने प्रतिनिधि का चयन
दरभंगा जिला निर्वाचन पदाधिकारी ने बताया कि जिले में कुल 28 लाख से अधिक मतदाता हैं। ये मतदाता अपने पसंदीदा उम्मीदवार के पक्ष में मतदान करेंगे। इसके लिए जिले में 3329 मतदान केंद्र बनाए गए हैं, जहां सुरक्षा, बिजली, पानी और आवश्यक सुविधाओं की पूरी व्यवस्था की गई है।
चुनाव आयोग के निर्देश पर हर मतदान केंद्र पर वेबकास्टिंग की व्यवस्था की जा रही है ताकि किसी भी गड़बड़ी या अनियमितता पर तुरंत कार्रवाई की जा सके।
राजनीतिक दृष्टि से देखें तो दरभंगा जिला हमेशा से बिहार की राजनीति का अहम केंद्र रहा है। इस बार भी यहां मुकाबला बेहद दिलचस्प होने वाला है। एक ओर राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन (NDA) जिसमें भाजपा और जदयू हैं, तो दूसरी ओर महागठबंधन (RJD, कांग्रेस, वाम दल) मजबूती से चुनावी मैदान में है।
दरभंगा में बिहार विधानसभा चुनाव 2025 का असली मुकाबला अब शुरू हो चुका है। जिले की 10 सीटों पर 123 उम्मीदवार मैदान में हैं। प्रशासन ने सुरक्षा और निष्पक्षता सुनिश्चित करने के लिए पूरी तैयारी कर ली है।
बता दें कि, 28 लाख से अधिक मतदाताओं के बीच यह चुनाव न सिर्फ दरभंगा बल्कि पूरे मिथिलांचल की राजनीतिक दिशा तय करेगा। अब देखना यह होगा कि मतदाताओं का जनादेश किसके पक्ष में जाता है—NDA, महागठबंधन या किसी तीसरे मोर्चे के। लोकतंत्र के इस पर्व में दरभंगा की जनता फिर से तय करेगी कि उनके प्रतिनिधि कौन होंगे और बिहार की सत्ता का रास्ता किस ओर जाएगा।