अमेरिका अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प ने 29 दिसंबर 2025 को फ्लोरिडा के अपने मार-ए-लागो रिसॉर्ट में इजराइली प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू के साथ हुई महत्वपूर्ण बैठक के बाद ईरान और फिलिस्तीनी संगठन हमास को कड़ी चेतावनी दी है। यह बैठक मध्य पूर्व में चल रहे नाजुक शांति प्रयासों के बीच हुई, जहां ट्रम्प ने ईरान को उसके परमाणु और बैलिस्टिक मिसाइल कार्यक्रम को दोबारा शुरू करने पर फिर से बड़े सैन्य हमले की धमकी दी।
ट्रम्प ने इस संदर्भ में B-2 स्टेल्थ बॉम्बर का जिक्र किया, जो जून 2025 के हमलों में इस्तेमाल हुआ था। उन्होंने व्यंग्यात्मक अंदाज में कहा कि वे इस बॉम्बर पर ईंधन “बर्बाद” नहीं करना चाहते, क्योंकि राउंड ट्रिप में करीब 37 घंटे लगते हैं। B-2 अमेरिका का सबसे उन्नत स्टेल्थ बॉम्बर है, जो गहरे भूमिगत ठिकानों को निशाना बनाने के लिए जाना जाता है। जून में “ऑपरेशन मिडनाइट हैमर” के तहत अमेरिका ने फोर्डो, नतांज और इस्फहान जैसे तीन प्रमुख परमाणु केंद्रों पर GBU-57 “बंकर बस्टर” बमों का इस्तेमाल किया था।
बता दें कि, यह चेतावनी जून 2025 के 12-दिवसीय इजराइल-ईरान युद्ध के बाद आई है, जिसमें इजराइल ने पहले ईरान के सैन्य और परमाणु ठिकानों पर हमले किए, और फिर अमेरिका ने शामिल होकर निर्णायक कार्रवाई की। युद्ध के बाद ट्रम्प ने ईरान के साथ नए परमाणु समझौते की बात की थी, लेकिन अब बैलिस्टिक मिसाइल परीक्षणों की रिपोर्ट्स ने तनाव बढ़ा दिया है। ट्रम्प ने कहा कि अगर ईरान समझौते का रास्ता नहीं अपनाता, तो परिणाम “पिछली बार से भी ज्यादा शक्तिशाली” होंगे।
जानकारी दे दें कि, यह बैठक मध्य पूर्व में ट्रम्प की विदेश नीति का महत्वपूर्ण हिस्सा है, जहां उन्होंने इजराइल के मजबूत समर्थक के रूप में अपनी स्थिति मजबूत की है। ईरान ने अभी तक कोई आधिकारिक प्रतिक्रिया नहीं दी, जबकि हमास की ओर से भी तत्काल कोई बयान नहीं आया। विशेषज्ञों का मानना है कि ये चेतावनियां क्षेत्रीय तनाव को और बढ़ा सकती हैं, लेकिन ट्रम्प शांति समझौतों को आगे बढ़ाने की कोशिश में जुटे हैं।
